Delhi to Karnal Metro : हरियाणा सरकार ने एक बड़ी और धांसू योजना का ऐलान किया है। इसके तहत दिल्ली से करनाल तक मेट्रो ट्रेन चलाई जाएगी। यह न सिर्फ यात्रा समय को कम करेगी बल्कि हरियाणा की इकोनॉमिक ग्रोथ को भी नई ऊंचाइयों पर ले जाएगी। इस प्रोजेक्ट का ऐलान होते ही करनाल और आसपास के इलाकों में जमीनों के दामों में उछाल देखने को मिल रहा है।
अब सवाल उठता है कि यह मेट्रो प्रोजेक्ट इतना खास क्यों है? भाई, इसका सीधा असर आपके समय और पैसे दोनों पर पड़ेगा। अभी करनाल से दिल्ली पहुंचने में 2-3 घंटे लग जाते हैं, और अगर रास्ते में जाम लग जाए तो यह समय और भी बढ़ जाता है। लेकिन इस मेट्रो प्रोजेक्ट के बाद यह समय घटकर महज 45 मिनट से 1 घंटे रह जाएगा। साथ ही, पेट्रोल-डीजल का खर्च भी बचेगा और सफर भी आरामदायक होगा।
मेट्रो ट्रेन का मतलब सिर्फ सफर आसान होना नहीं है। इससे करनाल और आसपास के इलाकों में जमीनों की कीमतों में भारी उछाल आएगी। जो जमीनें अभी सामान्य दामों पर बिक रही हैं, वही कुछ सालों में सोने के भाव बिकेंगी। जिनके पास पहले से जमीन है, उनकी तो लॉटरी लग गई!
दिल्ली वालों को तो ट्रैफिक जाम की आदत सी हो गई है, लेकिन करनाल से आने-जाने वालों के लिए यह मेट्रो जिंदगी बदलने वाला कदम साबित होगी। रोजाना हजारों लोग नौकरी और बिजनेस के सिलसिले में दिल्ली आते-जाते हैं और हरियाणा रोडवेज की बसों या अपनी गाड़ियों पर निर्भर रहते हैं। अब मेट्रो के जरिए न ट्रैफिक की झंझट और न ही सफर की टेंशन।
सरकार का दावा है कि इस मेट्रो प्रोजेक्ट से रोजगार के हजारों नए अवसर पैदा होंगे। मेट्रो निर्माण के दौरान इंजीनियर, मजदूर, तकनीकी विशेषज्ञ और कई लोगों को काम मिलेगा। वहीं, जब मेट्रो चलने लगेगी, तो स्टेशन पर दुकानें, कैफे, पार्किंग और बिजनेस हब बनने शुरू हो जाएंगे।
हरियाणा सरकार पहले ही करनाल को स्मार्ट सिटी बनाने की योजना में जुटी हुई है। मेट्रो इस प्लान को आगे बढ़ाने में मदद करेगी। करनाल की कनेक्टिविटी बढ़ेगी, जिससे बिजनेस, इंडस्ट्री और टूरिज्म में उछाल आएगा। रियल एस्टेट के खिलाड़ी भी यहां इन्वेस्ट करने को तैयार बैठे हैं।
आमतौर पर बड़े इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स से जनता को काफी परेशानी होती है, लेकिन इस बार ऐसा नहीं होगा। सरकार का कहना है कि मेट्रो लाइन का निर्माण इस तरह किया जाएगा कि लोगों को कम से कम असुविधा हो। इसके अलावा, मेट्रो किराया भी आम आदमी की जेब के हिसाब से तय किया जाएगा, ताकि सभी लोग इस सुविधा का लाभ उठा सकें।
अभी सरकार ने किराए को लेकर कोई खुलासा नहीं किया है, लेकिन अनुमान है कि यह हरियाणा रोडवेज या प्राइवेट बसों से थोड़ा ज्यादा और टैक्सी से कम रहेगा। टाइम की बात करें तो सफर में केवल 45 मिनट से 1 घंटे लग सकता है। यानी, “दिल्ली दूर नहीं” वाली कहावत सच होने वाली है!